पीड़ित’ महिला नमिता महतो का कहना है की ” नमिता महतो, श्री सुभाष चन्द्र महतो (जो दिल्ली GAIL में कार्यरत हैं) की पत्नी 2014 जब से यहाँ सिल्ली में मकान बना रही हूँ, तब से लगातार मेरे दो देवरों ने मुझे शारीरिक और मानसिक रूप से टार्चर करतें रहें हैं। ये लोग “ड्रोन कैमरा” दवारा मेरी जासूसी करते है, मेरी पर्सनल लाइफ अब पर्सनल’ नहीं रही है, और रांची की पुलिस है की इन लोगो के हातो की कठ्पुतली बानी हुई’है,पुलिस महकमा मेरी शिकयत’दर्जे नहीं कर रहा है
पीड़ित महिला ने थक हार के लीगल बाउंड्री मीडिया को अपनी आप बीती बताई और पुलिस कम्प्लेन की कॉपी दिखाई जो इस प्रकार है…….
दिनांक :- 26/07/2022
सेवा में,
थाना प्रभारी,
महिला थाना, राँची।
महोदया,
सविनय निवेदन है कि मैं नमिता महतो, श्री सुभाष चन्द्र महतो (जो दिल्ली GAIL में कार्यरत हैं) की पत्नी 2014 जब से यहाँ सिल्ली में मकान बना रही हूँ, तब से लगातार मेरे दो देवरों ने मुझे शारीरिक और मानसिक रूप से टार्चर करतें रहें हैं। ये लोग ड्रोन कैमरा दवारा मेरी जासूसी करते है, मेरी पर्सनल लाइफ अब पर्सनल’ नहीं रही है, और रांची की पुलिस है की इन लोगो के हातो की कठ्पुतली बानी हुई’है,पुलिस महकमा मेरी शिकयत’दर्जे नहीं कर रहा है.
आज से करीब दो हफ्ता पहले 15 अप्रैल 2015 बुधवार के दिन मेरे साथ बुरी तरह से मारपीट किया गया, चप्पल, ईंट, पत्थर से. अतुल महतो, प्रवीण महतो, मेरे दो देवर अपने भाई से कुछ नही कहते उनके पीठ पीछे हमेशा किसी बलात्कारी की तरह मुझे आँख दिखातें हैं। अपना जमीन हमने 2012 में लिया था, जमीन और मकान बनाने का पैसा भी कम्पनी लोन का है। हम दिल्ली आना-जाना करके काम करते रहे, जब 2014 में मैनें मकान बनवाना शुरू किया।
मेरे बाद वाले देवर अतुल महतो ने हमारे जमीन पर जगह हथियाने के लिये एक Tube Well गाड़ दिया था। अतुल महतों का जमीन हमारे जमीन के बगल में ही है। Tube Well हटवा कर मैं अपना मकान बना सकूँ। इसके लिये मुझे एक 107 का केस भी करना पड़ा और केस की ही वजह से मैं अपना मकान करीब आधा बना पाई हूँ। केस चलने के दौरान भी ये लोग मुझे लगातार तंग करतें रहें हैं। छोटा देवर प्रवीण महतो जिसका Pathological Lab बगल में ही है। हमेशा मुझे किसी न किसी रूप से मानसिक और शारीरिक रूप से उत्पीड़ित करतें रहें हैं।
मेरे छोटे देवर जिसका Pathological Lab है वो हमेशा रोज ही अपने Lab के सामने ऐसे लोगों का जमावड़ा किये रहतें हैं, जो लेडिज के आने-जाने पर Double Meaning में बातें करते हैं। हमारे पीठ पीछे से comment भी पास करतें हैं। इतना ही नहीं उनके यहाँ आने वाले लोग बिल्कुल बीच सड़क पर घंटो मोटर साईकिल खड़ा कर देतें हैं, जिससे हमलोगों को हमेशा आने-जाने में बहुत दिक्कत होता है, हटाने की बात कहने पर वो मुझसे हटाने की बात कहतें हैं। क्या मैं इतना भारी मोटर साईकिल हटा सकती हूँ। उल्टें प्रवीण झगड़ा करतें हैं और कहतें हैं सड़क मेरे बाप का है।
15 अप्रैल 2015 के दिन ऐसे ही जब हम मार्केट से सामान लेकर आ रहें थें तो सड़क के बिल्कुल बीचोबीच उसके यहाँ आने वाले और अड्डाबाजी करने वाले आदमी ने मोटर साईकिल खड़ा करके रख दिया था। हटाने के लिये मेरे कहने पर प्रवीण ने गाली-गलौज शुरू किया और फोन करके अपनी बीबी इन्द्रा को बुला लिया, Rent पर वो बगल में ही रहते हैं और उससे कहने लगा कि इसको पत्थर से मारो और मेरे साथ बुरी तरह से मारपीट किया गया। मेरा तबियत ठीक नही था, लू लग गया था, प्रवीण का कहना है मेरे पास बहुत आदमी है, तुम मेरा कुछ भी बिगाड़ नहीं सकती। वो पहले मेरे मिस्त्री लेबर भगा चूकें हैं। प्रवीण की बीबी इन्द्रा कहती है तुमको यानि मुझे पत्थर मारकर खत्म कर देंगे। 22 तारीख को दुबारा जब मैं उधर से आ रही थीं उसने फिर पत्थर उठाकर मेरा पीछा किया। प्रवीण के यहाँ आने वाले लोग हमेशा मेरे घर के सामने घूमते रहतें हैं। मैं अकेली रहती हूँ, मुझे डर लगता है. अतुल महतो कहता है
तलाक क्यों नही ले लेती, मेरे साथ मारपीट करके उल्टें भईया से कहतें हैं भाभी ने झगड़ा किया, हम बिल्कुल बेकसूर हैं। इन्द्रा ने मेरे Caretaker को भी गाली दिया. इन्द्रा का कहना है भैसुर का भी हम ही खायेंगे, अतुल महतो कहता है भाई का हम ही खायेंगे।
इन लोगों के इन्ही बदचलनी के कारण 1987 में जब ये लोग राँची रातु रोड क्वार्टर में रहते थे। तब अगल-बगल के चार-पाँच क्वार्टर के लोगों ने इनलोगों को बुरी तरह से पीटा था।
मेरा जीवन खतरें में है, बहुत उम्मीद के साथ मैं आपके पास आई हूँ, लड़ाई-झगड़े के बाद अभी भी मेरा तबीयत ठीक नही हुआ, दवा जारी है, मैं बिल्कुल अकेली रहती हूँ।
कृप्या इस स्थिति की गम्भीरता को समझते हुए मुझे अति शीघ्र न्याय दिलाया जाय और उचित कार्रवाई किया जाय। इसके लिए मैं सदा आपकी आभारी रहूँगी।
आपका विश्वासी नमिता माहतो
नमिता महतो
दिनांक :- 26/07/2022